मनोज भुटानी ने 420 (धोखाधड़ी) से करोड़ों की सम्पत्ति कर लिया अवैध कब्जा, शहर में चलाता है अवैध स्पा सेंटर
देहरादून। राजधानी में अवैध तरीके से फर्जीवाड़ा कर सम्पत्ति कब्जा करने व जान से मारने की धमकी देने का शिलशिला काफी पुराना है। देहरादून निवासी शिवानी अग्रवाल पत्नी स्व. संजय अग्रवाल ने पुलिस को बताया कि अपने पति स्व.संजय अग्रवाल की उत्तरांचल साइनेज के नाम से प्रिंटिंग का व्यवसाय है। महिला ने प्रार्थना पत्र में बताया कि विगत 25 अप्रैल 2022 को उसके पति की बुर्किना फांसो (दक्षिण अफ्रिका) में आकस्मिक मृत्यु हो गई थी, उनके मृत्यु के पश्चाय काफी समय तक बदहवास सी रही। महिला शिवानी ने कहा कि अपने पति के व्यक्तिगत दस्तावेज काजगातों एवं बैंक से सम्बन्धित दस्तावेज की खोजबिन की गई। जिसमें उसके पति के हस्ताक्षर में 8 से 10 पेज मिले जिनमें उसके पति द्वारा अपने हस्तलेख में अपने साथ हुई घटनाओं का विवरण लिखा था।
शिवानी ने पुलिस को बताया कि उक्त पत्र पड़ने के बाद उसको गहरा आघात पहुंचा। उन्होंने बताया कि पत्र में उसके पति के व्यवसाय में सहयोगी रहे मनोज भुटानी पुत्र ओम प्रकाश निवासी हार्थीबड़कला तथा एक अन्य व्यक्ति संजय गर्ग पुत्र विमल गर्ग निवासी लक्षमण चौक द्वारा अपने कर्मचारी रिंकैश निवासी कावली रोड के साथ मिलकर उसके पति की अश्लील वीडियो बनाकर उन्हे शारीरिक, मानसिक व आर्थिक रुप से उत्पीडित किया गया। उन्होंने प्रार्थना पत्र में पुलिस को बताया कि वीडियो वायरल करने की धमकिया देकर उसके पति की मेहनत की कमाई हुई सम्पत्तियों पर कब्जा करने एवं विभिन्न फार्माें के दस्तावेजों में हेराफेरी किया गया है। उन्होंने बताया कि मनोज भुटानी द्वारा उसके पति की कम्पनि के फर्जी बैंक एकाउंट अपने ससुर के नाम खुलवाकर उनके लगभग रु. 24614860/- हड़प लिया तथा उनको आर्थिक नुकसान पहुंचाई गई है।
शिवानी ने प्रार्थना पत्र में पुलिस को बताया कि पेसेफिक मॉल में फंकी किंगडम से उसके पति को यह जानते हुए कि उसके पति उक्त में डायरेक्टर है कि 18 लाख रु. सतीश जुनेजा, संजय गर्ग, जतीन मोहन, मनोज भुटानी द्वारा हडप लिए गए हैं। महिला ने बताया कि वह उनके द्वारा अन्य फार्म मसूरी पिक्चर पैलेस व फंकी गुडगांव फार्म का भी हिसाब बकाया है जोकि इनके द्वारा नहीं दिया गया हैं। जबकि उसके पति द्वारा उक्त लोगों को मेल व मैसेस भेजकर धनराशि मांगी गई थी।
शिवानी ने बताया कि इन लोगों के कृत्य से उसके पति की मानसिक स्थिति व बच्चों का जीवन स्तर एवं आर्थिक स्थिति प्रभावित हुई है तथा प्रार्थीनी का जीवन संकट में पड़ा है। शिवानी ने कहा कि उसके पति द्वारा लिखित पत्र में यह अंकित है कि किस प्रकार उक्त लोगों द्वारा अपने सहयोगियों के साथ मिलकर उसके पति का मानसिक व शारीरिक व आर्थिक शोषण किया गया है तथा अवैध रुप से सम्पत्ति कब्जा कर रखे है। शिवानी ने पुलिस को बताया कि उक्त लोगों द्वारा उसको, उसके पति और बच्चों सहित घर में जिंदा जलाने के नियत से मनोज भुटानी द्वारा अपने साढूभाई इंद्रजीत उर्फ बन्टी के द्वारा ज्वलनसील पदार्थ फैंक कर हमला कराया गया था। जिसके सम्बन्ध में एक मुकदमा थाना कोतवाली में पंजीकृत है तथा आरोपी इंद्रजीत उर्फ बंटी फरार चल रहा है। शिवानी ने बताया कि उक्त लोग अत्यंत शातिर किस्म के व्यक्ति है। इनके द्वारा पूर्व में असामाजिक तत्वों के माध्यम से भी उन्हें व उनके पति को धमकाने का प्रयास किया गया था। महिला शिवानी ने बताया कि उसके पति के द्वारा पूर्व में भी इन लोगों के विरुद्ध थाना कोतवाली में प्रार्थना पत्र दिया गया था, जिसकी जांच चौकी धारा में प्रचलित थी। उन्होंने बताया कि क्षेत्राधिकारी जूही मनराल के यहा उसे के पति ने भी अपने बयान दर्ज कराये गए थे। शिवानी ने बताया कि मनोज भुटानी द्वारा मेरी सम्पत्ति जोकि उसके कब्जे में हैं उक्त सम्पत्ति पर अवैध रुप से स्पा सेंटर अन्यत्र नाम से संचालित करता है तथा शहर भी कई स्पा सेंटर अन्य नामों से संचालित कर रहा है। शिवानी ने बताया कि उसके पति की मृत्यु के बाद भी उक्त मनोज भुटानी व उसके सहयोगियों के लालच खत्म नहीं हुआ है। उन्होंने बताया कि उसके पति की राजपुर रोड स्थित सम्पत्ति के सम्बन्ध में उसके पति ने एचडीएपफसी बैंक से लोन लिया हुआ था जिसकी किस्त उसके पति द्वारा अदा करते थे तथा पति की मृत्यु के बाद भी किस्तें उन्होंने अदा कर रही थी। जिसका बैंक द्वारा उनके मृत्यु के बाद सेटलमंेट एवं क्लेम की धनराशि उक्त मनोज भुटानी द्वारा एचडीएफसी बैंक के साथ संाठ-गांठ कर आपस में बंदरबांट कर ली गई है। शिवानी ने मांग करते हुए कहा कि जिसमें बैंक मैनेजर व कर्मचारियों की पूर्ण मिलीभगत है, जिसकी जांच होनी चाहिए। शिवानी ने पुलिस को प्रार्थना पत्र के द्वारा बताया कि उसके व उसकी पुत्रियों के साथ कभी भी कई भी अनहोनी घटना हो सकता है। पुलिस ने शिवानी अग्रवाल की प्रार्थना पत्र को देखते हुए तत्काल भारतीय दंड सहिंसा के तहत धारा 420, 120-बी, 406, 384 व 447 तहत मुकदमा दर्ज कर जांच शुरु कर लिया गया है।