पुष्कर सिंह धामी ने प्रधानमंत्री के सलाहकार भास्कर खुल्बे से मिलकर विभिन्न योजनाओं पर विचार विमर्श किया
पुष्कर सिंह धामी ने प्रधानमंत्री के सलाहकार भास्कर खुल्बे से मिलकर विभिन्न योजनाओं पर विचार विमर्श किया
देहरादून
- मुख्यमंत्री से मिले प्रधानमंत्री के सलाहकार श्री भाष्कर खुल्बे।
- केदारनाथ पुनर्निर्माण कार्यों एवं बद्रीनाथ धाम के मास्टर प्लान के सम्बन्ध में की चर्चा।
- पर्वतीय शिल्प कला के अनुरूप हो ऋषिकेश-कर्णप्रयाग रेल लाइन के स्टेशन।
मुख्यमंत्री श्री पुष्कर सिंह धामी से शुक्रवार को सचिवालय में प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी के सलाहकार श्री भाष्कर खुल्बे ने भेंट की। उन्होंने मुख्यमंत्री से केदारनाथ पुनर्निर्माण कार्यों तथा बद्रीनाथ के सौन्दर्यीकरण से सम्बन्धित मास्टर प्लान पर चर्चा की। श्री खुल्बे ने मुख्यमंत्री से ऋषिकेश-कर्णप्रयाग रेल लाइन के अन्तर्गत निर्मित होने वाले स्टेशनों को पर्वतीय शिल्प कला के अनुरूप बनाये जाने की बात कही, उन्होंने कहा कि इससे पर्वतीय क्षेत्र के शिल्पियों को रोजगार के अवसर भी उपलब्ध होंगे।
मुख्यमंत्री ने कहा कि वर्तमान में उत्तराखण्ड की राजधानी देहरादून से विश्वस्तरीय टिहरी झील जाने हेतु मसूरी-चम्बा कोटी कालोनी मोटर मार्ग के द्वारा कुल 105 किमी० की दूरी तय करनी पड़ती है, जिसमें सम्पूर्ण मार्ग पर्वतीय क्षेत्र में होने के कारण लगभग 3.30 घण्टे का समय लगता है। उक्त टनल देहरादून के राजपुर के निकट से प्रस्तावित है, जो कि टिहरी झील के निकट कोटी कालोनी में समाप्त होगी। टनल की कुल लंबाई लगभग 35 किमी० आयेगी। टनल के निर्माण की अनुमानित लागत 8750 करोड़ रूपए आयेगी।
मुख्यमंत्री ने कहा कि एम्स ऋषिकेश होने के पश्चात भी राज्य के पर्वतीय दूरदराज कुमाऊं मंडल के इलाके, भौगोलिक दूरी होने के कारण सुपरस्पेशियलिटी स्वास्थ्य सेवाओं से वंचित हैं। राज्य के कुमाऊं मंडल में एम्स की स्थापना करने से कुमाऊं के नागरिकों के साथ ही उत्तर प्रदेश के निकटवर्ती जनपदों के लोगों को भी विश्वस्तरीय चिकित्सा सुविधायें उपलब्ध होगी। एम्स के लिए भूमि उत्तराखंड राज्य सरकार द्वारा उपलब्ध कराई जाएगी। पूर्व में भी एक राज्य में दो एम्स जैसे विश्व स्तरीय संस्थान स्थापित किए गये हैं।
मुख्यमंत्री ने कहा कि राज्य के क्षेत्रीय सामाजिक सांस्कृतिक तथा पर्यटन के विकास और सामरिक दृष्टिकोण से रेल मंत्रालय, भारत सरकार द्वारा टनकपुर और बागेश्वर के बीच नैरो गेज रेलवे लाइन हेतु सर्वे का आदेश निर्गत किया गया है। यह लाइन ब्राडगेज में होनी चाहिये। चीन और नेपाल की अंतर्राष्ट्रीय सीमा के निकट स्थित होने के कारण यह रेल लाइन सामरिक रूप से बहुत महत्वपूर्ण है। साथ ही यह नये व्यापार केन्द्रों को भी जोड़ेगी। मुख्यमंत्री ने कहा कि सामरिक उद्देश्य और सीमांत जनपदों के विकास की आवश्यकता को देखते हुए टनकपुर बागेश्वर रेलवे लाईन का नैरोगेज की बजाय ब्राडगेज लाईन का सर्वे किया जाए।
मुख्यमंत्री श्री पुष्कर सिंह धामी ने कहा कि चार धाम सड़क परियोजना के साथ ही ऋषिकेश-कर्णप्रयाग रेल परियोजना प्रधानमंत्री श्री नरेंद्र मोदी जी की उत्तराखण्ड को बड़ी देन है। वह समय दूर नहीं, जब पहाड़ में रेल का सपना पूरा होगा। इससे राज्य की आर्थिकी में बड़ा बदलाव देखने को मिलेगा। मार्च 2024 तक परियोजना को पूर्ण किए जाने के लक्ष्य के साथ काम किया जा रहा है। ऋषिकेश के बाद परियोजना मुख्यतः अंडरग्राउंड है। भूमि अधिग्रहण किया जा चुका है। इस रेल लाइन पर 12 स्टेशन और 17 टनल बनाये जा रहे हैं। काम निर्धारित समयावधि में पूरा किया जा सके, इसके लिए विभिन्न स्थानों पर एक साथ काम चल रहा है।
मुख्यमंत्री ने कहा कि आगामी 7 अक्टूबर को जौलीग्रांट, देहरादून में बने नये टर्मिनल का लोकार्पण किया जायेगा। हेली समिट के दौरान देहरादून-पंतनगर-पिथौरागढ़-पं
उन्होंने कहा कि देहरादून-पिथौरागढ़ हेली सेवा शुरू होने से सीमान्त क्षेत्र पिथौरागढ़ के विकास के लिए यह मील का पत्थर साबित होगा। प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी जी के मार्गदर्शन एवं केन्द्र सरकार के सहयोग से राज्य में कनेक्टिविटी के क्षेत्र में तेजी से विकास हो रहा है।
मुख्यमंत्री ने कहा कि जी.एस.टी. क्षतिपूर्ति दिये जाने की अवधि जून 2022 में समाप्त हो रही है, राज्य की आर्थिक स्थिति की मजबूती के लिये जी.एस.टी कन्सेसन की अवधि को बढ़ाया जाना राज्य हित में है। इस सम्बन्ध में आवश्यक सहयोग का अनुरोध भी मुख्यमंत्री ने किया है।