आयुध निर्माणी उच्चतर माध्यमिक विद्यालय के पूर्व छात्र छात्राओं द्वारा मनाया जाएगा ऐतिहासिक शिक्षक दिवस।
देहरादून : आयुध निर्माणी उच्चतर माध्यमिक विद्यालय के पूर्व छात्र छात्राओं द्वारा “ऐतिहासिक शिक्षक दिवस” मनाया जा रहा है, जिसमे वर्ष 1960 से लेकर वर्ष 2020 मे स्कूल पास आउट हुए पूर्व छात्र छात्राओं द्वारा अपने भूतपूर्व स्कूल व अपने शिक्षकों के सम्मान मे भारत वर्ष छात्र छात्राएं एकत्रित होंगे यह अपने आप मे भारत का पहला ऐसा शिक्षक दिवस है जो कि ऐतिहासिक होने जा रहा है ।
इसके विषय मे आयुध निर्माणी पूर्व छात्र ग्रुप बनाने वाले एडमिन आरिफ खान ने पत्रकार वार्ता मे बताया कि ये अपने आप मे ऐसा अनोखा विषय है जिसके बारे मे सोचते तो सब होंगे किन्तु अपने व्यस्त जीवन से समय निकाल कर उस पर अमल करने का साहस अभी तक शायद ही किसी ने किया हो । आरिफ खान के अनुसार एक मित्र के कहने पर जब वो अपने पूर्व क्लासमेट साथियों मनिन्दर साही और अनूप भट्ट के साथ 07 अगस्त को अपने पूर्व स्कूल पहुंचे जिस से वो और उनके साथी 28-30 वर्ष पूर्व हाई स्कूल के बाद छोड़ चुके थे । उन्हे वर्तमान प्रधानचार्य से जानकारी हुई कि अब बच्चों की संख्या कम होने के कारण शायद स्कूल बंद होने की आशंका है ।
इस सम्बंध मे सुनकर सबको बहुत अफसोस हुआ और उन्होने निर्णय लिया कि चाहे कुछ भी हो जाये वो सभी साथी मिलकर अपने पूर्व स्कूल को बचाने का भरकस प्रयास करेंगे । जिसके लिए उन्होने पूरे स्कूल की एक वीडियो बनाई और उसे फेसबुक और व्हाट्सएप पर ग्रुप बनाकर वायरल कर दी देखते ही देखते यह वीडियो इतनी वायरल हुई और ग्रुप मे उस स्कूल से पास आउट हुए पूर्व छात्र-छात्राओं ने जुड़ना शुरू कर दिया आज इस ग्रुप मे देश-विदेश मे रह रहे वर्ष 1958 से लेकर 2020 तक के पूर्व छात्र-छात्राएं जुड़ चुके हैं । चूंकि इस स्कूल और यहां के शिक्षकों ने उनको अक्षर ज्ञान देकर आज इस मुकाम तक पहुँचाया है अतः मन मे विचार आया कि क्यूँ न इस साल 05 सितंबर 2021 को अपने पूर्व स्कूल के शिक्षकों को सम्मानित करके शिक्षक दिवस मनाया जाए जिसके लिए 18 अगस्त को अपने मन की बात ग्रुप मे रखी गयी तो मात्र 18 साथियों ने ही इसके लिए अपनी सहमति प्रदान करि किन्तु अपने ध्रण निश्चय को जब सबके समक्ष रखा और इस कार्यक्रम के लिए एक स्वैछिक सहियोग राशि रखी तो फिर क्या था जब नियत अच्छी होती है तो मंजिल भी आसान हो जाती है फिर देखते ही देखते सम्पूर्ण भारत से जहां जहां भी आयुध निर्माणी विद्यालय से पढ़े छात्र थे उन्होने अपनी सहमति और सहियोग राशि भेजनी शुरू कर दी ।
आज इस कार्यक्रम के लिए जो अनुमानित साथी और लक्ष्य रखा था उस से कहीं अच्छा रिस्पॉन्स मिलने से न सिर्फ सभी पूर्व छात्रों का मनोबल बढ़ा है अपितु कार्यक्रम को सफल बनाने की ऊर्जा भी मिली है । पत्रकार वार्ता करने वाले पूर्व छात्र-छात्राओं ने बताया कि यह अपनी तरह का पहला ऐसा शिक्षक दिवस होगा जो कि 50-60 साल पहले स्कूल छोड़ चुके छात्रों द्वारा किया जा रहा है जिसमे मोक्ष प्राप्त कर चुके शिक्षकों को श्रद्धांजलि दी जाएगी व उनके परिजनों को सम्मानित किया जाएगा साथ ही रिटायर्ड व वर्तमान शिक्षकों को भी सम्मानित किया जाएगा कार्यक्रम मे आयुध निर्माणी देहरादून के महाप्रबंधक व जिलाधिकारी देहरादून को मुख्य अतिथि के रूप मे निमन्त्रित किया गया है ।
इस पहल से न सिर्फ स्कूल को बंद होने से बचाने मे मदद मिलेगी बल्कि आने वाली पीढ़ी का भी अपने स्कूल और गुरुजनों के प्रति प्रेम और सम्मान बढेगा । और हो सकता है उनके इस प्रयास को देख कर अन्य राज्यों मे भी ये गुरुप्रथा शुरू हो जाये । पत्रकार वार्ता मे आयुध निर्माणी विद्यालय के पूर्व छात्रों मे पद्मिनी मेहरा,पुष्पा थपलियाल बडोनी, राधा बिष्ट,मनिन्दर साही, कवीन्द्र सेमवाल,नमित पराशर, अजय थापा, अनूप भट्ट,राकेश बुधोरी आरिफ खान इत्यादि शामिल रहे ।